West Bengal : April-September तक Bus व Mini Bus का Tax माफ, Permit Fee से भी इस साल राहत

मुख्यमंत्री ममता बनर्जी

बंगाल में होगी कोविड मैनेजमेंट सिस्टम की शुरुआत

कोलकाता : कोरोना वायरस (Corona Virus) की वजह से पिछले कई महीनों से मंदी की मार झेल रहे पश्चिम बंगाल (West Bengal) के बस व मिनी बस मालिकों को राज्य सरकार ने गुरुवार को राहत देने की कोशिश की है। मुख्यमंत्री ममता बनर्जी की अध्यक्षता में हुई बैठक के बाद वर्तमान वित्त वर्ष में बस व मिनी बस का अप्रैल (April) से सितम्बर तक का पूरा टैक्स माफ करने की घोषणा की गई है। राज्य की मुख्यमंत्री ममता बनर्जी ने बसों का टैक्स माफ करने के साथ ही बसों का इस साल का वार्षिक परमिट फी भी माफ करने की जानकारी दी। संवाददाता सम्मेलन के माध्यम से गृह सचिव अलापन बंदोपाध्याय ने बताया कि कोविड-19 को ध्यान में रखते हुए राज्य सरकार अप्रैल से सितम्बर तक बस व मिनी बसों का टैक्स माफ करेगी और साथ ही वेस्ट बंगाल मोटर व्हीकल एक्ट 1979 के तहत लिए जाने वाला अतिरिक्त टैक्स भी माफ रहेगा। उन्होंने यह भी बताया कि बसों के क्षेत्र में इस पूरे साल का परमिट फी भी माफ करने का निर्णय लिया गया है।

Tax माफ करना सराहनीय कदम लेकिन भाड़ा वृद्धि बेहद जरूरी : तपन बनर्जी

तपन बनर्जी, महासचिव, ज्वाइंट काउंसिल ऑफ बस सिंडीकेट्स

ज्वाइंट काउंसिल ऑफ बस सिंडीकेट्स (Joint Council of Bus Syndicates) के महासचिव (General Secretary) तपन बनर्जी (Tapan Banerjee) ने पश्चिम बंगाल सरकार द्वारा टैक्सी व परमिट फी माफ किए जाने की पहल की सराहना की। उन्होंने कहा कि यह बेहद जरूरी था और यह फैसला स्वागतयोग्य है। हालांकि उन्होंने साफ किया कि वर्तमान समय में निजी बसों के किराये में बढ़ोतरी करना सबसे ज्यादा जरूरी है। कोविड-19 की वजह से रास्ते में यात्री कम हैं। इसके साथ ही संक्रमण से बचाव के लिए विभिन्न दिशा निर्देशों का पालन कर बस को सड़क पर उतारना पड़ रहा है। डीजल के दाम में रोजाना बढ़ोतरी हो रही है। ऐसे में पुराने भाड़े पर बस चलाना सम्भव नहीं हो पा रहा है। उन्होंने कहा कि बस के नये भाड़े के निर्धारण के लिए राज्य सरकार ने एक एक्सपर्ट कमेटी गठित की थी लेकिन 2 महीने बीत जाने के बाद भी कमेटी ने भाड़ा वृद्धि को लेकर किसी तरह की रिपोर्ट नहीं दी है। उन्होंने अपील करते हुए कहा कि एक्सपर्ट कमेटी वर्तमान हालातों को देखते हुए बस का न्यूनतम किराया तय कर एक जल्द से जल्द एक रिपोर्ट सौंपे ताकि उस पर विचार हो सके।

बंगाल में होगी कोविड मैनेजमेंट सिस्टम की शुरुआत

कोलकाता : गुरुवार को राज्य के मुख्य सचिव राजीव सिन्हा ने कहा है कि राज्य में कोविड मैनेजमेंट सिस्टम पर काम किया जा रहा है। इसके तहत हर रात 9 बजे सभी सरकारी व निजी कोविड अस्पतालों को उनके यहाँ भर्ती मरीजों में कितनों की हालत गंभीर, कितनों की माइल्ड व कितना बिना लक्ष्ण वाले मरीज है, इसका ब्यौरा देना होगा। पब्लिक प्लेटफॉर्म पर भी यह आँकड़ें मौजूद रहेंगे ताकि लोग भी राज्य में कोरोना के हालातों से अवगत रहेंगे। बस सरकार की वेबसाइट पर क्लिक करने से मरीजों की हालत, उनकी उम्र व स्वास्थ्य संबंधी जानकारी प्राप्त कर सकेंगे। उन्होंने आगे बताया कि कोरोना मरीज टेलीमेडिसिन नंबर 033-23576001 पर फोन करके भी मदद ले सकते हैं। 5 मेडिकल विशेषज्ञों की टीम का भी गठन किया गया है। यह टीम टेस्टिंग लैब का दौरा करेगी।

ममता बनर्जी ने कहा राज्य में कोरोना की मृत्यु दर 2 फीसदी है

कोलकाता : गुरुवार को संवाददाता सम्मेलन के दौरान राज्य की मुख्यमंत्री ममता बनर्जी ने कहा कि राज्य में कोरोना की मृत्यु दर 2 फीसदी है। इनमें से भी 88 फीसदी की मौत कोमोरबिड के कारण हुई है। इसके साथ ही राज्य में कोरोना रोगियों की डिस्चार्ज रेट की भी मुख्यमंत्री ने तारीफ की। उन्होंने कहा कि कोरोना से ठीक होने वालों की संख्या 70 फीसदी से ज्यादा है। हालांकि इतने से ही प्रशासन संतुष्ट नहीं है। कोरोना संक्रमण से बचने के लिए और सख्त कदम उठाने होंगे। इसके अलावा स्वास्थ्य विभाग में फोन करने पर ही निःशुल्क एम्बुलेंस परिसेवा भी मिलेगी। इसके लिए नया टोल फ्री नंबर 40902929 भी जारी कर दिया गया है। इसके अलावा कोलकाता व आसपास के इलाकों में बहुमंजिला इमारतों में रहने वाले व्यस्क लोगोंं की खोज खबर लेने के लिए मुख्यमंत्री ने एक विशेष कमेटी के गठन का भी निर्देश दिया है। राज्य सचिव एवं कोलकाता पुलिस आयुक्त की निगरानी में यह कमेटी काम करेगी। इस कार्य के लिए कोविड वॉरियर्स एवं स्वंयसेवी संस्थाओं को काम में लगाने का निर्देश दिया गया है।

मुख्यमंत्री ने लोगों को फर्जी कोरोना जाँच गिरोह से किया सतर्क

कोलकाता व आसपास के इलाकों में कई बार कोरोना जाँच के नाम पर फर्जीवाड़े की खबर सामने आ चुकी है। ऐसे ही गिरोह से राज्यवासियों को मुख्यमंत्री ने सतर्क किया है। उन्होंने कहा कि किसी भी कीमत में बिना सटीक दस्तावेजों के किसी भी एजेंट पर लोग विश्‍वास न करें। अगर कोई खुद को किसी अस्पताल व लैब का एजेंट बताकर कम रुपयों में कोरोना जाँच का लालच देता है तो लोग उनकी बातों में न आये। ऐसे लोगों से बचकर रहें सतर्कता बरतें।

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